"... अमर वचन ये विद्यासागर नौटियाल के "
"हरी घास को चर जाएँगे वृषभ काल के
इक्कीसवीं सदी में
अमर वचन ये
विद्यासागर नौटियाल के "
नौटियाल जी नहीं रहे, यह दु:खद समाचार मिला तो मन कष्ट से भर गया। मन में उनकी स्मृतियों को ताज़ा करती अपने ईमेल्ज़ में उनसे हुए संवादों को खोजती रही।
' पहल ' पत्रिका पर केन्द्रित मेरे हिन्दी-भारत पोर्टल पर छपे आलोक श्रीवास्तव जी के लेख (पाखंडी नैतिकता का अश्वमेध जारी है : पहल के बहाने ) के संदर्भ में टिप्पणी करते हुए उन्होंने अपने ईमेल में लिखा था -
"maine blog dekkha. 2006 ke baad se maine 'kathadesh' se apne rishte tod liye the . usne mujhe bhi kaafi be-izzatkiya tha. lekin mein kisi se aisi chhejon ka zikra tak nahin karta.apna samay kimti hota hai, uska upyog rachnatamak karyon mein hi k iya jana chahiye, aisa mera maana hai.
'kathadesh ' ki' pahal' se tulna nahin ki jani chahiye.
hari ghass ko char jayenge brishabh kaal
ke/ ikkiswin sadi mein/amar bachan ye/vidya sagar nautiyal ke."
इसके उत्तर में (`पल्लव' के सुझाव पर ) मैंने उनसे पूछा था कि क्या आपकी ये पंक्तियाँ वहाँ ब्लॉग पर प्रतिक्रियाओं में लगा दूँ अथवा नहीं। इस पर उनका जो उत्तर आया, उस से उनकी सत्यनिष्ठा, साहस व विवेक का प्रमाण मिलता है।
आज उन दिवंगत आत्मा को प्रणाम निवेदित करते हुए, स्क्रीनशॉट ( चित्र ) के रूप में उस ईमेल को मैं ज्यों का त्यों दे रही हूँ।
उक्त ईमेलाचार में भविष्यवाणी व चेतावनी-सी देकर हिन्दी समाज को सचेत करती उनकी रोमन में लिखी काव्यपंक्तियों को ( प्रारम्भ में ) देवनागरी में कर दिया है।
क्या इन पंक्तियों में छिपी वेदना का अर्थ हम लगा पाएँगे ? और लगा पाए तो क्या अपने को इस "हरी घास को चर जाने" वाले छद्म, अनाचार से विलग करने का साहस कर पाएँगे ?
यदि नहीं, तो हमारी श्रद्धांजलियाँ केवल औपचारिकता-भर नहीं लगतीं आपको ?
दिवंगत महान आत्मा को श्रद्धांजलि..
जवाब देंहटाएंनौटियाल जी को भावभीनि श्रद्धांजलि॥
जवाब देंहटाएंमुकेश कुमार
जवाब देंहटाएंविद्यासागर नोटियाल के जाने के बाद,मै कभी भी इतना साहस नही जु्टा पाया
कि उनके बारे मे कुछ कह सकू,बस उनकी स्म्रति मात्र से ही मेरा ह्र्दय जोर-जोर से धडकने लगता है,मै चाहकर भी अपने आप को सम्भाल नही पाता,
वास्तव मे नोटियाल जी ऐसे युगधर्मी रचनाकार थे
जो आज भी पाठको के ह्र्द्य़ विराजमान रहते है,